तेलंगाना स्थित मारुत ड्रोन को अपने ‘मल्टी-नोजल बीज वितरण उपकरण’ के लिए पेटेंट मिला है। इस ड्रोन की मदद से धान की सीधी बुवाई की जा सकती है।
कंपनी ने शुक्रवार को एक बयान में कहा कि यह पेटेंट अधिनियम, 1970 के प्रावधानों के तहत 20 वर्षों के लिए दिया गया दुनिया का पहला जनकेंद्रित पेटेंट है।
यह पेटेंट मारुत के सीधे बीज बोने वाले चावल ड्रोन को मान्यता देता है। इसे प्रोफेसर जयशंकर तेलंगाना राज्य कृषि विश्वविद्यालय (पीजेटीएसएयू) के सहयोग से विकसित किया गया है। इसमें एक मल्टी-नोजल बीज वितरण उपकरण शामिल है।
इस पेटेंट के साथ, मारुत ड्रोन जमीनी स्तर पर चावल की खेती के लिए सीधे बीज बोने वाले ड्रोन की सुविधा देगी।
कंपनी ने कहा कि उसका लक्ष्य चावल की खेती को बढ़ावा देने के लिए 2030 तक दस लाख हेक्टेयर भूमि पर बीज बोना है।
– एजेंसी