जानिए क्या खाएं सूजी या बेसन वजन कम करने के लिए ? जानें इनके फायदे

सूजी और बेसन का सेवन आप सभी ने किया ही होगा. ज्यादातर लोग इनका इस्तेमाल हलवा, ढोकला, चीला, उत्तपम, डोसा, लड्डू जैसी स्वादिष्ट डिशेज बनाने के लिए करते हैं. सूजी और बेसन दोनों ही बहुत हेल्दी फूड माना जाता हैं.

वैसे तो बेसन और सूजी दोनों आप वेट लॉस के लिए खा सकते हैं लेकिन सबसे बड़ा कंफ्यूजन यह होता है कि तेजी से वजन कम करने के लिए सूजी खाना बेहतर है या फिर बेसन. आपके कन्फयूजन को इस आर्टिकल के जरिए खत्म करते हैं और बताते हैं कि दोनों में से आप किसे अपने वेट लॉस डाइट में शामिल कर सकते है.

क्या कहती है रिसर्च
अमेरिका में एक रिसर्च रिपोर्ट के अनुसार, 100 ग्राम सूजी में 360 कैलोरी होती है और इतने ही अमाउंट में बेसन में 387 कैलोरी होती है. ऐसे देंखे तो सूजी और बेसन दोनों ही कैलोरी के मामले में वेट कम करने में मददगार हैं.

वजन कम करने के लिए सूजी के फायदे
अगर आप अपना वजन कम करना चाहते हैं तो सूजी का सेवन कर सकते हैं. सूजी फाइबर से भरपूर रहती है जो शरीर से वजन कम करने के लिए फाइबर एक जरूरी न्यूट्रिएंट है. फाइबर से भरपूर खानों को अपनी डाइट में शामिल करने से आपका पेट लंबे समय तक भरा रहता है, जिससे आप बार-बार खाने से बचते हैं. सूजी में कैल्शियम, प्रोटीन, मैग्नीशियम जैसे कई तरह के विटामिन पाए जाते हैं. इसमें कैलोरी बहुत कम होती है, जो वजन कम करने में मदद करती है.सूजी के कई और फायदें भी है. सूजी शरीर में खून की कमी नहीं होने देती. गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को तो सूजी का सेवन करने की सलह दी जाती है .ये शरीर में कोलेस्ट्रॉल कंट्रोल कर के रखता है .

वजन घटाने के लिए बेसन के फायदे
बेसन के नियमित सेवन से शरीर में चर्बी जमा नहीं होती जिससे वजन नहीं बढ़ता. बेसन में भी फाइबर होता है, जो वजन कम करने के लिए बेहद जरूरी न्यूट्रिएंट है. साथ ही बेसन में मौजूद विटामिंस और मिनरल्स वजन बढ़ने नहीं देते. बेसन को डाइट में शामिल करने से बॉडी में कॉलेस्ट्रॉल लेवल कंट्रोल में रहता है. बेसन आपके शरीर में खून की कमी नहीं होने देता. हेल्दी बॉडी और बोन्स के लिए भी बेसन का बहुत जरूरी है.

बेसन और सूजी में क्या है बेहतर?
सूजी में ग्लाइसेमिक इंडेक्स हाई होता है. इसके साथ ही ग्लूटेन का लेवल भी बढ़ा होता है जिससे ये ग्लूटेन के प्रति कनसर्न लोगों के लिए नुकसानदायक हो सकता है. वहीं बेसन की बात करें तो बेसन का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है और बेसन ग्लूटेन फ्री होता है. इसके अलावा बेसन में प्रोटीन की भी अच्छी खासी मात्रा पाया जाता है. एक्सपर्ट्स मानते हैं कि डायबिटीज के मरीज और जिन्हे ग्लूटेन से एलर्जी है उन्हें सूजी का सेवन करने से बचना चाहिए. डायबिटीज पेशेंट के लिए बेसन का सेवन करना ज्यादा बेहतर चुनाव हो सकता है.

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