वेट लॉस (weight loss) के लिए अक्सर हमें अपने पसंदीदा खाने से हाथ धोना पड़ता है। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा! वॉल्यूमेट्रिक डायट (Volumetric Diet) एक ऐसा तरीका है, जो आपको अपने पसंदीदा और स्वादिष्ट खाद्य पदार्थ खाने की स्वतंत्रता देता है, साथ ही साथ वजन कम करने में मदद करता है। तो आइए, जानते हैं कि वॉल्यूमेट्रिक डायट क्या है और इसे कैसे अपनाया जा सकता है।
1. वॉल्यूमेट्रिक डायट क्या है?
वॉल्यूमेट्रिक डायट एक वजन घटाने का तरीका है, जिसमें आपको कैलोरी कम करने के बजाय अधिक मात्रा में भोजन खाने की सलाह दी जाती है। इसमें ध्यान केंद्रित किया जाता है कि आप अधिक फाइबर, पानी, और पोषक तत्वों से भरपूर खाद्य पदार्थ खाएं, जिनकी कैलोरी कम होती है, लेकिन मात्रा ज्यादा होती है। इससे पेट जल्दी भरता है और आपको भूख नहीं लगती, जिससे वजन घटाने में मदद मिलती है।
2. वॉल्यूमेट्रिक डायट के प्रमुख सिद्धांत
- कम कैलोरी वाले खाद्य पदार्थ: वॉल्यूमेट्रिक डायट का मुख्य उद्देश्य ऐसे खाद्य पदार्थों को चुनना है जिनमें कम कैलोरी हो, लेकिन उनका वॉल्यूम (मात्रा) ज्यादा हो। इसमें फल, सब्जियां, सलाद, और हाई-फाइबर वाले अनाज शामिल होते हैं।
- पानी और फाइबर से भरपूर आहार: इस डायट में फाइबर और पानी से भरपूर खाद्य पदार्थों की अधिकता होती है, जैसे हरी पत्तेदार सब्जियां, फल, और सूप। ये पदार्थ वजन घटाने में सहायक होते हैं।
- फूल-फूलकर खाने की सलाह: वॉल्यूमेट्रिक डायट में खाने की मात्रा को बढ़ाया जाता है, ताकि आपको भूख न लगे, लेकिन कैलोरी कम रहती है। इसके लिए फल, सब्जियां और डाइटरी फाइबर को प्राथमिकता दी जाती है।
3. वॉल्यूमेट्रिक डायट के फायदे
- मनपसंद खाना खाने की स्वतंत्रता: वॉल्यूमेट्रिक डायट आपको अपना मनपसंद खाना खाने की अनुमति देता है। आप अपनी पसंदीदा डिश का आनंद ले सकते हैं, बस यह ध्यान रखते हुए कि उसकी कैलोरी कम हो।
- भूख कम लगेगी: वॉल्यूमेट्रिक डायट में आपको ज्यादा मात्रा में खाना मिलेगा, जिससे पेट भरा रहेगा और आपको भूख नहीं लगेगी।
- पोषक तत्वों का बेहतर सेवन: यह डायट पोषक तत्वों से भरपूर होता है, जिससे शरीर को सभी आवश्यक विटामिन, मिनरल्स, और फाइबर मिलते हैं।
4. वॉल्यूमेट्रिक डायट के नियम
- हाई-वॉल्यूम और लो-कैलोरी फूड्स: अपने आहार में हाई-वॉल्यूम (ज्यादा मात्रा) और लो-कैलोरी (कम कैलोरी) खाद्य पदार्थों को शामिल करें, जैसे सलाद, फल, और सब्जियां।
- वसा और कार्बोहाइड्रेट पर नियंत्रण: इस डायट में वसा और सरल कार्बोहाइड्रेट (जैसे शक्कर और सफेद आटा) को कम करने की सलाह दी जाती है। इनकी जगह पर आप फाइबर और प्रोटीन से भरपूर खाद्य पदार्थ चुन सकते हैं।
- पानी का सेवन बढ़ाएं: पानी पीने से पेट भरता है और कैलोरी का सेवन भी नियंत्रित रहता है। वॉल्यूमेट्रिक डायट में पानी के साथ साथ सूप और जूस जैसी चीज़ों को भी शामिल किया जाता है।
- भागों का नियंत्रण करें: वॉल्यूमेट्रिक डायट में यह भी सुझाव दिया जाता है कि आप भोजन के हिस्से को नियंत्रित करें। छोटे प्लेट में खाना खाएं, जिससे कैलोरी का सेवन सीमित रहे।
5. वॉल्यूमेट्रिक डायट से जुड़े कुछ टिप्स
- फलों और सब्जियों का अधिक सेवन करें: इन खाद्य पदार्थों में कैलोरी कम होती है, लेकिन ये पेट को भरते हैं। इसलिए इन्हें अपने आहार का मुख्य हिस्सा बनाएं।
- आलू और मैदा से बचें: इनकी कैलोरी अधिक होती है, जो वेट लॉस के प्रयासों को नुकसान पहुंचा सकती है। इनके बजाय, साबुत अनाज और शकरकंद जैसी स्वस्थ विकल्प चुनें।
- नाश्ते को हल्का रखें: नाश्ते में फाइबर और प्रोटीन से भरपूर भोजन जैसे ओट्स, दही, और फल शामिल करें। ये आपको लम्बे समय तक भरा हुआ महसूस कराएंगे।
6. उदाहरण के तौर पर वॉल्यूमेट्रिक डायट मेनू
- नाश्ता: ओट्स का हलवा, फल, और दही
- लंच: ग्रीन सलाद, भुनी हुई सब्जियां, और क्विनोआ
- स्नैक: फल, या अलसी के बीज
- डिनर: दाल, रोटी, और हरी सब्जियां
वॉल्यूमेट्रिक डायट वजन घटाने का एक अत्यधिक प्रभावी और संतुलित तरीका है, जिसमें आपको अपने पसंदीदा खाद्य पदार्थ छोड़ने की आवश्यकता नहीं होती। केवल यह ध्यान रखना होता है कि आप कौन से खाद्य पदार्थ चुन रहे हैं और उनकी मात्रा कितनी है। यदि आप इस डायट को सही तरीके से अपनाते हैं, तो आपको वजन घटाने के साथ-साथ स्वस्थ जीवनशैली का भी लाभ मिलेगा।