बादाम भिगोकर खाने की प्राचीन परंपरा भारत से कायम है. भिगोने का मुख्य उद्देश्य है इसके पोषक तत्वों को सहजता से पाचने में सहायक बनाना और छिलका आसानी से हटा पाना.बादाम को भिगोने से उसमें मौजूद पोषक तत्व अधिक उपलब्ध हो जाते हैं. लेकिन क्या वाकई हमें बादाम की छिलका हटाकर ही खानी चाहिए? चलिए इस के बारे में जानते हैं.
बादाम के छिलके में टैनिन नामक एक पदार्थ होता है जो बादाम के पोषक तत्वों को अवशोषित होने से रोकता है। इसलिए छिलका हटाने से बादाम के पूरे पोषक तत्व आसानी से शरीर में अवशोषित हो पाते हैं. बादाम के छिलके को हटाने के अन्य फायदे भी हैं. बादाम का छिलका कड़वा होता है जिससे बादाम का स्वाद खराब हो जाता है. छिलके को हटाने से बादाम की मिठास बरकरार रहती है.छिलके में कीटनाशक और रसायन भी हो सकते हैं जो स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हैं। इनको हटाने से बादाम 100% शुद्ध और स्वास्थ्यवर्धक बना रहता है.
बादाम उन मेवों में से एक है जिसमें सेहत के अनगिनत फायदे हैं. यहां बादाम के कुछ प्रमुख फायदे यहां देखें
.ह्रदय के लिए लाभकारी: बादाम में सेहतमंद फैटी एसिड, विशेष रूप से मोनोअंसैच्युरेटेड और पॉलीअंसैच्युरेटेड फैट्स पाए जाते हैं जो ह्रदय के लिए अच्छे होते हैं.
वजन घटाने में सहायक: बादाम में फाइबर, प्रोटीन, और अच्छा वसा होता है जो भूख को नियंत्रित करने में सहायक है और आपको ज्यादा समय तक संतुष्ट महसूस कराता है.
ब्लड शुगर को नियंत्रित करना : बादाम में मौजूद मैग्नीशियम ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद करता है.
उचित पोषण: बादाम विटामिन E, मैग्नीशियम, और अन्य महत्वपूर्ण मिनरल्स से भरपूर होते हैं.
बढ़ते हुए कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करना: बादाम में स्टेरॉल्स और फाइबर होते हैं जो बढ़ते हुए कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने में मदद करते हैं.
एंटीऑक्सीडेंट स्रोत: विटामिन E एक शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट है जो शरीर के सेल्स को नुकसान पहुंचाने वाले मुक्त रेडिकल्स से बचाव करता है.
जोड़ों और मांसपेशियों के लिए: बादाम में मौजूद मैग्नीशियम और पोटैशियम जोड़ों और मांसपेशियों के स्वस्थ रहने में महत्वपूर्ण होते हैं.
मास्टिक और त्वचा के लिए: बादाम तेल का उपयोग त्वचा के लिए मॉइस्चराइज़र के रूप में होता है, और यह त्वचा को नरम और मुलायम बनाए रखता है.
इन सभी फायदों को देखते हुए, बादाम को आपकी दैनिक डाइट में शामिल करना बेहद फायदेमंद होता है। फिर भी, इसे सीमित मात्रा में ही सेवन करना चाहिए, क्योंकि यह कैलोरी में काफी ऊंचा है।
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