वैसे तो माइग्रेन एक न्यूरोलॉजिकल प्रॉब्लम है, जिसमें सिर के एक हिस्से में बहुत तेज दर्द होता है और इसके साथ ही मतली, उल्टी, घबराहट, तेज धड़कन जैसी प्रॉब्लम भी हो सकती है. लेकिन क्या आप जानते हैं अगर माइग्रेन का सिरदर्द लंबे समय तक बना रहे, तो इससे कई गंभीर स्थितियां भी पैदा हो सकती है. आइए आज हम आपको बताते हैंकि अगर समय रहते माइग्रेन पर ध्यान नहीं दिया गया तो कैसे यह हार्ट अटैक और स्ट्रोक जैसी गंभीर प्रॉब्लम का कारण बन सकता है.
माइग्रेन से होने वाली दिक्कतें
रिसर्च में यह बात साबित हो चुकी है कि माइग्रेन से पीड़ित लोगों में हार्ट अटैक और स्ट्रोक होने का खतरा अधिक होता है, क्योंकि माइग्रेन और हार्ट अटैक दोनों में ब्लड वेसल्स में खून की सप्लाई ठीक तरह से नहीं हो पाती है और इसके चलते माइग्रेन से मायोकार्डियल इन्फ्रक्शन, हार्ट स्ट्रोक-अटैक और यहां तक की मौत का खतरा भी होता है.
हार्ट अटैक और स्ट्रोक को कैसे बढ़ा सकता है माइग्रेन
एक रिसर्च के अनुसार जिन लोगों को माइग्रेन की समस्या लंबे समय तक रहती है, उनमें हार्ट संबंधी प्रॉब्लम जैसे दिल का दौरा, हार्ट अटैक या स्ट्रोक जैसी गंभीर स्थिति का खतरा दोगुना हो जाता है. जर्नल ऑफ न्यूरोलॉजी में प्रिंट हुई एक रिपोर्ट के अनुसार, माइग्रेन का अगर समय रहते इलाज नहीं किया गया तो इसके कारण जानलेवा इस्केमिक स्ट्रोक का खतरा भी बढ़ सकता है. ऐसे में जिन लोगों को लाइट माइग्रेन से लेकर सीवियर माइग्रेन तक है उन्हें अपनी लाइफस्टाइल ठीक करना चाहिए और इस प्रॉब्लम का जल्द से जल्द निदान करना चाहिए.
माइग्रेन को कैसे कम करें
अब बात आती है कि माइग्रेन की स्थिति को कैसे कम किया जा सके? यदि आपको तेज सिरदर्द होता है, तो उसको ट्रिगर करने वाली समस्याओं के बारे में जानें और उससे बचाव के उपाय ढूंढें, इसके लिए मेडिटेशन एक बेहतर उपाय है.
माइग्रेन की प्रॉब्लम से बचने के लिए हेल्दी डाइट लें और लंबे समय तक भूखा ना रहे, क्योंकि भूखा रहने से माइग्रेन की समस्या और बढ़ जाती है.
कैफीन का बहुत ज्यादा सेवन करने से भी माइग्रेन का खतरा बढ़ जाता है, ऐसे में चाय, कॉफी और कैफीन युक्त चीजों का सेवन कम करें.
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