नीदलैंड के खिलाफ रिकॉर्ड शतकीय पारी खेलने वाले ग्लेन मैक्सवेल ने शतक को लेकर ज्यादा नहीं सोच रहे थे लेकिन आखिरी ओवरों में खुद अधिक गेंदों का सामना करना चाहते थे। ऑस्ट्रेलिया की बल्लेबाजी के समय 48वें ओवर के बाद मैक्सवेल 35 गेंद में 75 रन पर खेल रहे थे। उन्होंने हालांकि अगली पांच गेंदों में दो चौके तीन छक्के जड़ कर 40 गेंद में शतक पूरा किया। उनकी पारी से ऑस्ट्रेलिया ने आठ विकेट पर 399 रन का विशाल स्कोर खड़ा किया। जवाब में नीदरलैंड की टीम 90 रन पर ऑल आउट हो गयी।
मैक्सवेल ने मैच के बाद संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘यह वास्तव में मेरे दिमाग में नहीं था। मैं आखिरी ओवरों में खुद स्ट्राइक पर रहने के बारे में सोच रहा था।” उन्होंने कहा आखिरी पांच ओवरों में वह अधिक गेंदों का सामना करना चाहते थे। मैक्सवेल ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि जब पांच ओवर बचे थे तब मैंने पैट (कमिंस) से कहा कि मैं जितना संभव हो सके उतना पारी को नियंत्रण करने की कोशिश करूंगा। मैं एक रन लेने की जगह ज्यादा स्ट्राइक अपने पास रखना चाहता हूं।” इस ताबड़तोड़ बल्लेबाज ने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि ऐसे मैदान पर अगर आप किसी गेंदबाज पर दबाव बनायेंगे तो वह गलतियां करेगा। मैंने 49वें ओवर में ऐसा ही किया। मैंने उसकी (बास डी लीडे) अच्छी गेंदों पर बड़ा शॉट खेल कर उसे गलती करने पर मजबूर किया। मुझे लगता है कि आखिर में मेरी रणनीति कारगर रही। मैं काफी भाग्यशाली था कि आखिरी ओवरों में कुछ फुलटॉस गेंद मिलीं।”
एकदिवसीय क्रिकेट में मैक्सवेल का फॉर्म पिछले कुछ समय से अच्छा नहीं था लेकिन उन्होंने कहा, ‘‘मुझे लगता है कि मैंने पिछले कुछ वर्षों में आईपीएल के दौरान भारत में नियमित रूप से रन बनाए हैं, इसलिए मैं उन लोगों के बारे में बहुत चिंतित नहीं हूं जो कहते हैं कि मैंने एकदिवसीय क्रिकेट में रन नहीं बनाए हैं।” उन्होंने कहा, ”मुझे पता है कि जब मैं अच्छा करूंगा तो टीम के जीतने की संभावना बढ़ेगी। इस साल आईपीएल के दौरान भारत में थोड़ी सफलता मिलने के बाद, मैं इस विश्व कप के दौरान आत्मविश्वास से भरा हुआ भारत आया हूं। मैंने अभ्यास मैच में भी पाकिस्तान के खिलाफ 70 रन बनाकर अच्छी शुरुआत की थी।”
इस हरफनमौला ने कहा, ‘‘लोग मेरे पिछले 20 एकदिवसीय मैचों के बारे में बात करते हैं, लेकिन मैंने यह 20 मैच अलग-अलग महाद्वीपों में छह साल से अधिक समय के अंतराल में खेले है।” मैक्सवेल ने कहा कि उनकी तबीयत थोड़ी नासाज है और वह इस मुकाबले में बल्लेबाजी नहीं करना चाहते थे। उन्होंने कहा, ”मैं पूरी तरह ठीक नहीं हूं, जब ड्रेसिंग रूम में था तब बल्लेबाजी नहीं करना चाहता था। जब मैं यहां पहुंचा तो मुझे ठंड लग रही थी और आज क्रीज पर आने से पहले खुद से ज्यादा उम्मीदें नहीं थी।
– एजेंसी