संसद में नहीं होगी ‘छावा’ की स्क्रीनिंग, जानें क्यों लिया गया फैसला

छत्रपति शिवाजी महाराज की वीरता और संघर्ष को दिखाने वाली फिल्म ‘छावा’ की संसद में प्रस्तावित स्क्रीनिंग फिलहाल स्थगित कर दी गई है। 27 मार्च को बालयोगी सभागार में इस फिल्म की विशेष स्क्रीनिंग होनी थी, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सभी सांसदों के शामिल होने की संभावना थी। हालांकि, अब इसे अचानक टाल दिया गया है।

शिवाजी महाराज के शौर्य की गाथा है ‘छावा’
फिल्म ‘छावा’ महान योद्धा छत्रपति शिवाजी महाराज की वीरता, युद्धनीति और उनके संघर्षों पर आधारित है। यह फिल्म युवाओं के लिए प्रेरणादायक बताई जा रही थी, जिसमें शिवाजी महाराज के राज्य निर्माण, धर्मनिरपेक्ष दृष्टिकोण और प्रशासनिक नीतियों को दर्शाया गया है।

इसका उद्देश्य शिवाजी महाराज के योगदान और उनकी रणनीतिक कुशलता को जनता तक पहुंचाना था। फिल्म में उनके मुगलों के खिलाफ संघर्ष और मराठा साम्राज्य के विस्तार को विस्तार से दिखाया गया है।

औरंगजेब को लेकर छिड़ा विवाद!
‘छावा’ फिल्म के रिलीज के बाद औरंगजेब को लेकर देशभर में विवाद शुरू हो गया।
कुछ लोगों ने फिल्म में औरंगजेब के चित्रण को लेकर आपत्ति जताई और आरोप लगाया कि इसमें एकतरफा दृष्टिकोण अपनाया गया है।

महाराष्ट्र में कुछ संगठनों ने तो औरंगजेब की कब्र हटाने तक की मांग कर डाली।
वहीं, दूसरी ओर कुछ लोगों का मानना है कि फिल्म इतिहास को सटीक रूप से दिखा रही है और यह शिवाजी महाराज के पराक्रम को सही तरीके से प्रस्तुत करने का प्रयास है।

अब यह देखना दिलचस्प होगा कि संसद में स्क्रीनिंग स्थगित होने के पीछे विवाद की कोई भूमिका है या फिर कोई और कारण।

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